लेबर कोड के विरोध में मजदूर संगठनों का राष्ट्रव्यापी काला दिवस
बीकानेर , 23 सितम्बर। आधुनिक गुलामी के दस्तावेज मजदूर विरोधी चार लेबर कोडों को वापस लेने की मांग पर आज राष्ट्रव्यापी काला दिवस के तहत स्थानीय जिला कलेक्टर कार्यालय के समक्ष प्रदर्शन कर प्रधानमंत्री को संबोधित ज्ञापन में इन कानूनों को वापस लेने की मांग की गयी।
ज्ञापन से पूर्व सभा को संबोधित करते हुए बैंक कर्मचारी नेता वाई.के शर्मा योगी ने कहा की सरकार ईज ऑफ डूइंग बिजनेस और पूंजी निवेश के नाम पर मजदूरों को आधुनिक गुलामी में धकेल रही है। एटक के महामंत्री कॉमरेड अब्दुल रहमान कोहरी ने कहा कि सरकार लम्बे संघर्ष के बाद मजदूरों के प्राप्त हकों पर डाका डालकर कॉरपोरेट घरानों को छूट देने के लिये लाये गये लेबर कोड मजदूरों की असुरक्षता के दस्तावेज है।
सभा को भाकपा के जिला सचिव कॉमरेड अविनाश व्यास ने संबोधित करते हुए कहा कि यह कोड उसी तरह है जैसे जूते के हिसाब से पैर को ठीक करना। रेलवे के श्रमिक नेता ब्रिजेश ओझा और मोहम्मद सलीम कुरैशी ने कहा कि सरकार सार्वजनिक संस्थानों का निजीकरण कर रही है, जो कि देश की आम जनता के लिये नुकसानदेह है। सीटू के मूलचंद खत्री ने कहा कि सरकार द्वारा लाये गये चार कोड ठेकेदारों को मनमानापन करने की छूट देते है।बीएसएनएल के नेता गुलाम हुसैन ने कहा कि सरकार की इन नीतियों के खिलाफ हमें एकजुट संघर्ष करना होगा।
आज के प्रदर्शन में डेयरी यूनियन के एम. के जोशी, कॉमरेड पूर्णाराम, बीएसएनएल के रसीद अहमद, विकास भंडारी, मारूफ खान, मोहता रसायनशाला लेबर यूनियन एटक के द्वारका प्रसाद, राजेन्द्र और बाबूलाल, होटल यूनियन एटक के पर्वतसिंह, करणसिंह, बैंक यूनियन के रामदेव, कोऑपरेटिव बैंक के अशोक, रोडवेज यूनियन के किशनसिंह चौहान, बालकिशन, देवीलाल, अमरचंद, निर्मल, मदनगोपाल सहित नौजवान सभा के कॉमरेड सरजू गहलोत, लॉयर्स एशोेशेसियन के आलोक पराशर आदि उपस्थित थे।
एटक के कॉमरेड अब्दुल रहमान में बताया कि आज का यह प्रदर्शन केन्द्रीय संगठनों के संयुक्त आह्वान पर पूरे देश में काला दिवस मनाया गया। सरकार अपनी इसी नीति पर कायम रहेगी तो मजदूर आंदोलन और विकसित किया जाएगा।