चश्मा वितरण कैम्प में 539 चश्मे वितरित किए


- दृष्टि है तो सृष्टि है’ और ‘सेवा ही सकल्प’ के मंत्र पर काम कर रहा है बीकानेर व्यापार उद्योग मण्डल: विधायक सुश्री सिद्धि कुमारी
बीकानेर, 14 मई। बीकानेर व्यापार उद्योग मण्डल एवं शताक्षी सेवा संस्थान द्वारा श्रमिक दिवस के अवसर पर आयोजित निःशुल्क नेत्र जांच शिविर में जांच के उपरान्त पात्र 539 श्रमिकों एवं उनके परिजनों को बुधवार को चश्मे वितरण किए गए। कार्यक्रम में बीकानेर (पूर्व) विधानसभा क्षेत्र विधायक सुश्री सिद्धि कुमारी व राजस्व अपील अधिकारी उम्मेद सिंह रतनू की मौजूदगी में 539 लोगों को चश्मे वितरित किए गए। इसके लिए सुबह 9 बजे से ही श्रमिकों और मण्डी कर्मचारियों की लम्बी कतारें लगना शुरू हो गई।




इस अवसर पर विधायक सुश्री सिद्धि कुमारी ने कहा सेवा, समर्पण व निःस्वार्थ भाव से किए जा रहे कार्य अनुकरणीय हैं। इनमें भागीदारी निभाना गौरवपूर्ण है। उन्होंने बीकानेर व्यापार उद्योग मण्डल एवं शताक्षी संस्थान के मिशन एक लाख चश्मा वितरण एवं दृष्टि है तो सृष्टि है अभियान की सराहना की और कहा कि अधिक से अधिक श्रमिकों और उनके परिवार जनों को यह लाभ दिया जाए। राजस्व अपील अधिकारी उम्मेद सिंह रतनू ने कहा की राज्य सरकार द्वारा श्रमिकों और मजदूर वर्ग के लोगों के लिए कई योजना संचालित की हैं। इन्हें स्वास्थ्य से जुड़ी योजनाओं का समयबद्ध लाभ मिले, इसके प्रति जागरूकता के लिए बीकानेर व्यापार उद्योग मण्डल जागरूकता से कार्य कर रहा है।


शताक्षी सेवा संस्थान के महन्त करणी प्रताप सिंह ने बताया कि संस्थान अपने लक्ष्य की ओर बढ़ रहे है। चश्मा वितरण के पश्चात सामाजिक सरोकार का अन्य लक्ष्य हाथ में लिया जाएगा। इस अवसर पर बीकानेर व्यापार उद्योग मण्डल के संचिव संजय जैन सांड ने स्वागत उद्बोधन दिया। उन्होंने बताया कि 1 मई को आयोजित शिविर में 1 हजार 67 श्रमिकों एवं उनके परिवार के लागो की नेत्र जांच की गई। जांच के उपरान्त अब तक लगभग 539 चश्में बने हैं। वहीं 41 मरीजों के ऑपरेशन जयपुर स्थित एक अस्पताल में करवाए जाएंगे।
विजय बाफना ने सभी का आभार जताया। कार्यक्रम का संचालन किशन लोहिया ने किया। चश्मा वित्तरण कार्यक्रम में नरेश गोयल, सुशील यादव, विनोद धानुका, मोहम्मद ईमरान, परविन्द्र सिंह, रविन्द्र शर्मा, शिव सिंह शेखावत, मनोज सोलंकी, विनोद भोजक ,जय दयाल डूडी, तोलाराम चाण्डक, जेठाराम पुरोहित, गजेन्द्र सिंह लूंछ , शान्ति लाल कोचर, जय नारायण डागा, पूनम चंद सुराणा, गोविन्द ग्रोवर, शुभाष बंसल, प्रकाश सोनावत, बालचंद गोयल, हेमन्त पारीक, दीपक स्वामी, कानदास स्वामी, राजू कस्वां, राजू मेहरा, मुकेश कंडारा, तुसार चांगरा सहित अनेक लोग मौजूद रहे।