बीकानेर के एयर शो में विमानों से बनाया फाइटर प्लेन
12 विमानों के साथ सूर्यकिरण टीम ने आसमान में दिखाए करतब
बीकानेर , 31 जनवरी। भारतीय वायुसेना की जांबाज टीम ने आज एयरफोर्स के विमानों के साथ आसमान में करतब किया। चार सौ किलोमीटर प्रति घंटा की स्पीड से विमानों को आसमान में उड़ाया। पलक झपकते ही विमान भागते नजर आए।
जिस तरह थल सेना के जवान जमीन पर कदमताल मिलाते हैं। ठीक वैसे ही एयरफोर्स के विमानों ने आसमान में अनुशासन का अनूठा उदाहरण पेश किया। लाल और सफेद पट्टी वाले ये प्लेन एयरफोर्स की ‘सूर्य किरण’ ऐरोबेटिक टीम के थे।
बीकानेर से करीब दस किलोमीटर दूर नाल एयरफोर्स स्टेशन पर एयर शो हो रहा है। दो दिवसीय शो के पहले दिन बुधवार को स्कूली स्टूडेंट्स को भी एंट्री दी गई। गुरुवार को आम नागरिक शो देख सकेंगे। शो में मोबाइल के साथ किसी को भी एंट्री नहीं मिलेगी।
11 विमानों ने आसमान में बनाई फाइटर प्लेन की आकृति
एयर शो में बुधवार को करीब 12 विमानों ने कलाबाजी दिखाई। आसमान में सूर्यकिरण के विमान सीधे जाने के बजाय गोल घेरे में घूमे तो पीछे धूएं से गोल आकृति बन गई। ऐसा एक बार नहीं कई बार हुआ। कभी विमान आसमान में एक लाइन में दिखे तो कभी एक-दूसरे के पास से निकलकर क्रॉस बनाया।
सूर्यकिरण टीम के सदस्यों ने विमानों से कई आकृतियां बनाई। दस-ग्यारह विमानों ने मिलकर आसमान में फाइटर प्लेन भी बनाया। इसके अलावा देश के 75वें गणतंत्र दिवस की आकृति भी बना दी।
दूर तक दिखा एयर शो
वैसे तो एयर शो का मुख्य केंद्र नाल एयरफोर्स स्टेशन पर था लेकिन बीकानेर तक सूर्यकिरण की कलाबाजी नजर आई। महाराजा गंगा सिंह यूनिवर्सिटी के कर्मचारियों ने ऑफिस से बाहर आकर आसमान में विमानों को देखा।
एयरफोर्स ने बुलाए स्टूडेंट्स
एयरफोर्स ने सरकारी और प्राइवेट स्कूलों को शो के लिए निमंत्रण दिया था। आमतौर पर एयरफोर्स बच्चों के लिए बस उपलब्ध कराता है लेकिन इस बार ऐसा नहीं हुआ। ऐसे में बड़ी संख्या में स्टूडेंट्स को एयर शो को देखने के लिए नहीं आ सकें।
दर्शकों ने उठाया सिम्फोनिक बैंड का भी आनंद
वायुसेना के नाल एयरफोर्स स्टेशन पर आयोजित दो दिवसीय एयर शो के पहले दिन लड़ाकू विमानों ने हवा में हैरतअंगेज करतब दिखाए। इस दौरान करीब दो घंटे तक बीकानेर का आकाश लड़ाकू विमानों की गडग़ड़ाहट से गूंजता रहा।
नजरें टिकी रहीं आसमान पर
इस दौरान दर्शकों की नजरें आसमान पर टिकी रही और उन्होंने विमानों की उड़ान और हवा में गोताखोरी का लुत्फ उठाया। इस दौरान आकाश लड़ाकू विमानों की गडग़ड़ाहट से गूंजता रहा और हजारों फुट ऊपर आकाश में कलाबाजियां खाते ये विमान तेजी से जमीन की तरफ आते और गोता लगाते हुए वापस आसमान में चले जाने के हैरतअंगेज करतब देखकर लोग दांतों तले अंगुली दबाने को मजबूर हो गए। कार्यक्रम के दौरान बड़ी संख्या में छात्र-छात्राएं भी मौजूद रहे।
आकाश गंगा पैरा ड्रॉङ्क्षपग टीम का रोमांचक प्रदर्शन
इस दौरान वायुसेना की आकाश गंगा पैरा ड्रॉङ्क्षपग टीम ने भी रोमांचक प्रदर्शन कर दर्शकों का भरपूर मनोरंजन किया। इसके अलावा दर्शकों ने सिम्फोनिक बैंड का भी आनंद उठाया। आकाश गंगा टीम की 12 फ ाइटर स्क्वॉड्रन के आसमान में फ्लाई पास्ट व एयर वॉरियर ड्रिल टीम के रोमांचक प्रदर्शन के चलते दर्शक देखते रहे।
मीडिया कवरेज पर रोक
एयर शो पर मीडिया को कवरेज देने से पहले ही रोक लगा दी गई थी। रविवार को एयर शो के दौरान नाल वायुसेना स्टेशन पर मोबाइल और कैमरा नहीं ले जाने दिया गया। वायुसेना अधिकारी का कहना था कि मोबाइल और कैमरा चेकिंग के दौरान गेट पर ही जब्त कर लिए जाएंगे। ऐसे में बेहतर है कि दर्शक दोनों ही मोबाइल और कैमरा साथ लेकर न आएं। मुख्य द्वार से लेकर आयोजन स्थल तक कई जगहों पर चेकिंग की गई।
क्या है सूर्य किरण
सूर्यकिरण विमान एयरफोर्स की एयरोबेटिक्स टीम का हिस्सा है, जिसका इस्तेमाल सेना में प्रशिक्षण के लिए किया जाता है। इसकी रफ्तार 450 से 500 किलोमीटर प्रति घंटे तक होती है। देशभर में जगह-जगह सूर्य किरण एयर शो करती है, ताकि स्कूल स्टूडेंट्स का एयरफोर्स के प्रति आकर्षण बन सकें।
बीकानेर में पहले दो बार हो चुका एयर शो
इससे पहले बीकानेर में साल 2018 में ऐसा ही नजारा देखने को मिला था।साल 2007 के आसपास भी बीकानेर के नाल में सूर्य किरण की टीम ने ही लोगों को चकित कर दिया था। तब आम आदमी को एयरफोर्स स्टेशन पर पहुंचने की अनुमति मिली थी।