पदस्थापन काउन्सलिंग से करने एवं आदेशों में संशोधन कर राहत प्रदान करने की मांग


बीकानेर, 06मई। शिक्षा विभागीय कर्मचारी संध राजस्थान-बीकानेर के प्रदेशाध्यक्ष कमल नारायण आचार्य ने राज्यपाल, मुख्यमंत्री, शिक्षा मंत्री, शासन सचिव, स्कूल शिक्षा एवं निदेशक महोदय, माध्यमिक शिक्षा बीकानेर राज.को पत्र भेजकर कर लिखा है कि प्रशासनिक एवं अतिरिक्त प्रशासनिक अधिकारियों के पदस्थापन काउंसलिंग से नहीं होने के कारण कार्मिकों को गृह जिले में पद रिक्त होते हुए भी दुरस्थ स्थान लगाये गये अतः पदस्थापन को निरस्त कर गृह जिले में किया जावे।



आचार्य ने बताया कि पत्र में यह भी लिखा गया है कि निदेशालय में बैठे कुछ अधिकारियों एवं कार्मिकों द्वारा काउंसलिंग की प्रक्रिया को उच्च अधिकारियों को गुमराह करते हुए नहीं होने दी जा रही है। जबकि राज्य सरकार के नियमों की अवहेलना करते हुए विधवा, परित्यक्ता, असाध्य रोग से पीड़ित, कार्मिकों को भी जिले बाहर लगाया गया है। जबकि जिले के अन्दर पद रिक्त होने के बावजूद एवं निदेशालय में पद रिक्त होने के बावजूद बाहर के लोगों को एवं जिलों में पद रिक्त होते हुए भी अन्य जिलों में पदस्थापन किया गया है। जो कि नियम के विरूद्ध है।


आचार्य ने बताया कि स्पष्ट रूप से मांग की गई है की शैक्षिक संवर्ग की तरह मंत्रालयिक कर्मचारियों की आनलाईन काउंसलिग कराते हुए प्रशासनिक व अति. प्रशा. अधिकारी पदों पर पदौन्नति उपरान्त किये गये पदस्थापनों की निष्पक्ष जांच करवाई जाये एवं पूर्व में जिले से बाहर किये गये समस्त कार्मिकों के पदस्थापन गृह जिले में करने का कष्ट करें। अन्यथा मजबूरन संगठनात्मक कार्यवाही की जायेगी एवं इस सम्बन्ध में प्रेस कान्फ्रेंस भी की जा सकती है। जिसकी समस्त जिम्मेदारी शिक्षा विभाग एवं प्रशासन की होगी।