चबा-चबाकर खाने के हैं जबरदस्त फायदे, जानें क्यों बड़े-बुजुर्ग धीरे खाने की देते हैं सलाह

stba

हमारे सोशल मीडिया से जुड़े!

बड़े-बुजुर्ग खाना धीरे-धीरे और चबाकर खाने की सलाह देते हैं. घर में कहा जाता है कि जल्दी खाना खाना शैतान का काम माना जाता है. खाना कम से कम 32 बार चबाकर खाना चाहिए. इससे सेहत को कई फायदे हैं. यह नियम बहुत पुराने समय से चला आ रहा है. कई एक्सपर्ट्स का भी मनाना है कि 32 बार खाना चबाकर खाने से सही तरह ऑब्जर्व होता है।

L.C.Baid Childrens Hospiatl

हालांकि, इसे लेकर कोई साइन्टिफिक रिसर्च अब तक सामने नहीं आया है। लेकिन ये सच है कि खाना चबाकर (32 Bar Formula in Eating) खाने से वह अलग फ्लेवर रिलीज करता है और कार्बोहाइड्रेट पचता है।

mona industries bikaner

चबा-चबाकर खाने के कई स्वास्थ्य लाभ होते हैं। यह न केवल पाचन तंत्र को बेहतर बनाता है बल्कि वजन नियंत्रण और समग्र स्वास्थ्य में भी सुधार करता है। यहाँ चबा-चबाकर खाने के कुछ मुख्य फायदे दिए गए हैं:

1. बेहतर पाचन
खाना जितना ज्यादा चबाया जाता है, उतने ही छोटे-छोटे टुकड़े में बदल जाता है. इससे पेट में पाचन क्रिया को काफी ज्यादा मदद मिलती है. खाने को सही तरह से चबाने से उसे पचाने में काफी आसानी होती है. इससे पेट की सेहत भी दुरुस्त बनी रहती है. कब्ज, एसिडिटी जैसी समस्याएं नहीं होती हैं।

एंजाइम्स का उत्सर्जन: चबाने से मुंह में पाचन एंजाइम्स (जैसे एमाइलेज) का स्राव बढ़ता है, जो कार्बोहाइड्रेट को तोड़ने में मदद करते हैं।

छोटे कण: भोजन को छोटे-छोटे कणों में तोड़ने से पेट और आंतों को इसे पचाने में आसानी होती है।

2. भूख नियंत्रण
संतुष्टि का अनुभव: धीरे-धीरे चबाने से दिमाग को यह सिग्नल मिलता है कि आप खा रहे हैं, जिससे भूख कम हो जाती है और आप जल्दी संतुष्ट महसूस करते हैं।
घटित कैलोरी सेवन: जल्दी-जल्दी खाने से ज्यादा खाने की संभावना होती है, जबकि धीरे-धीरे और चबाकर खाने से आप कम खाना खाते हैं।

3. वजन प्रबंधन
अगर आप खाना धीरे-धीरे और ज्यादा देर तक चबाकर खाते हैं तो पेट जल्दी भर जाता है. इससे ओवरईटिंग नहीं होती है और वजन-मोटापा कंट्रोल रहता है. ये आदत शरीर को फिट रखने में काफी सहायक होती है. इससे सेहत बनी रहती है. खाना चबाकर खाने से सेहत को कई तरह के लाभ मिलते हैं, इसलिए बड़े-बुजुर्ग और एक्सपर्ट्स 32 बार चबाकर खाने की सलाह देते हैं।
कम कैलोरी का सेवन: धीरे-धीरे चबाने से कम कैलोरी का सेवन होता है, जो वजन प्रबंधन में मदद करता है।
मेटाबॉलिज्म में सुधार: चबा-चबाकर खाने से मेटाबॉलिज्म बेहतर होता है, जिससे वजन नियंत्रण में मदद मिलती है।

4. पोषक तत्वों का बेहतर अवशोषण
अगर आप खाना सही तरह चबा-चबाकर खा रहे हैं तो उसमें मौजूद पोषक तत्व सही और अच्छी तरह से अब्सॉर्ब होते हैं. इससे शरीर के लिए जरूरी विटामिन्स और मिनरल्स बेहतर तरीके से मिल जाते हैं और उसे ताकत मिलती है. इससे इम्यूनिटी भी स्ट्रॉन्ग होती है और कई बीमारियों से आप बच सकते हैं।
पूर्ण पाचन: जब भोजन अच्छी तरह से चबाया जाता है, तो शरीर पोषक तत्वों को अधिक प्रभावी ढंग से अवशोषित कर सकता है।
पोषक तत्वों की उपलब्धता: चबाने से भोजन के पोषक तत्व आसानी से उपलब्ध होते हैं।

5. मौखिक स्वास्थ्य
लार का उत्पादन: चबाने से लार का उत्पादन बढ़ता है, जो मौखिक स्वच्छता को बनाए रखने में मदद करता है और मुंह की बीमारियों से बचाव करता है।
दांतों की सफाई: लार में मौजूद एंजाइम्स और अन्य तत्व दांतों और मसूड़ों को साफ और स्वस्थ रखते हैं।

6. स्ट्रेस और मनोदशा में सुधार
ध्यान केंद्रित करना: धीरे-धीरे और चबाकर खाने से आप अपने भोजन पर ध्यान केंद्रित कर सकते हैं, जिससे मनोदशा में सुधार होता है।
रिलैक्सेशन: भोजन को चबाते समय शांति और सुकून का अनुभव होता है, जिससे तनाव कम होता है।

7. गैस्ट्रिक समस्याओं में कमी
एरोफैगिया से बचाव: तेजी से खाने पर अधिक हवा निगलने का खतरा होता है, जिससे पेट फूलना और गैस की समस्या हो सकती है। चबाकर खाने से इस समस्या से बचा जा सकता है।
अम्लता में कमी: धीरे-धीरे खाने से पेट में अम्लता और एसिड रिफ्लक्स की समस्या कम हो जाती है।
निष्कर्ष
चबा-चबाकर खाने से पाचन तंत्र में सुधार होता है, भूख नियंत्रित रहती है, वजन प्रबंधन में मदद मिलती है, और समग्र स्वास्थ्य बेहतर होता है। यह एक सरल और प्रभावी तरीका है जिससे आप अपने भोजन का अधिकतम लाभ उठा सकते हैं और एक स्वस्थ जीवन जी सकते हैं।( थार डेस्क )

 

 

 

 

 

CHHAJER GRAPHISshree jain P.G.Collegeथार एक्सप्रेस

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *