राजस्थान में युवा आंदोलन की चेतावनी, हनुमान बेनीवाल बोले- एसआई भर्ती रद्द करें सरकार, नहीं तो विधानसभा का घेराव होगा


जयपुर, 25 मई — नागौर सांसद और राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी (RLP) के अध्यक्ष हनुमान बेनीवाल ने रविवार को जयपुर के मानसरोवर में आयोजित “युवा आक्रोश महारैली” में राज्य सरकार को कड़ी चेतावनी दी। उन्होंने कहा कि अगर सरकार ने पुलिस उपनिरीक्षक (एसआई) भर्ती रद्द नहीं की, तो पूरे राज्य में व्यापक आंदोलन होगा और विधानसभा का घेराव भी किया जाएगा।




मांगें और आरोप:
एसआई भर्ती घोटाले की जांच की मांग: बेनीवाल ने कहा कि राज्य सरकार हाईकोर्ट में इस भर्ती को बचाने की कोशिश न करे, बल्कि इसे रद्द करने की दिशा में काम करे। उन्होंने कहा कि सरकार इस भर्ती में शामिल भ्रष्टाचार को ढंकने का प्रयास कर रही है।


आरपीएससी को भंग करने की मांग: बेनीवाल ने राजस्थान लोकसेवा आयोग (RPSC) को “भ्रष्टाचार का गढ़” बताते हुए इसका पुनर्गठन करने की मांग की। उन्होंने कहा कि आयोग में योग्य और ईमानदार लोगों की नियुक्ति होनी चाहिए।
पेपरलीक और ओएमआर बदलने की तकनीक पर निशाना: उन्होंने कांग्रेस और भाजपा दोनों पर पेपरलीक के मामलों को लेकर सवाल उठाए और कहा कि अब तो ओएमआर शीट तक बदली जा रही हैं।
सरकार को सीधी चेतावनी:
बेनीवाल ने कहा, “मैं उस मां की ओर से बोल रहा हूं जो खेत बेचकर बेटे को पढ़ा रही है, उस नौजवान की ओर से बोल रहा हूं जो भूखे पेट कोचिंग में बैठता है। अगर सरकार ने मांगे नहीं मानीं, तो यह आंदोलन हर जिले में फैलेगा।”
मोदी सरकार पर भी निशाना:
हनुमान बेनीवाल ने बीकानेर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की रैली पर भी टिप्पणी करते हुए कहा, “पूरा सरकारी तंत्र झोंकने के बावजूद पांडाल नहीं भर पाया। नौजवान अब भाषण नहीं, रोजगार चाहता है।” उन्होंने “ऑपरेशन सिंदूर” पर सवाल उठाते हुए पूछा कि अगर यह कार्रवाई इतनी जरूरी थी, तो उन आतंकी कैंपों को क्यों छोड़ा गया जिन्हें ध्वस्त करना चाहिए था? साथ ही उन्होंने पीओके पर कार्रवाई की कमी को भी उठाया।
भ्रष्टाचार और जातिवाद के आरोप:
बेनीवाल ने कांग्रेस और भाजपा दोनों पर गंभीर आरोप लगाए:
भ्रष्टाचार: आरपीएससी, कर्मचारी चयन बोर्ड और शिक्षा बोर्ड को भ्रष्टाचार के केंद्र बताया।
जातिवाद: उन्होंने आरोप लगाया कि राज्य सरकार और एसओजी जाति देखकर कार्यवाही कर रही है।
मंत्री की पोती पर नकल के आरोप:
बेनीवाल ने एक मंत्री की पोती द्वारा परीक्षा में नकल करने की घटना का उल्लेख करते हुए कहा, “क्या दादा जी ने पोती को नकल के संस्कार दिए?” उन्होंने पूछा कि सरकार और मंत्री अब तक चुप क्यों हैं।
प्रशासन की प्रतिक्रिया:
महारैली के अंत में जयपुर पुलिस कमिश्नर बीजू जॉर्ज जोसफ और संभागीय आयुक्त पूनम मंच पर पहुंचे और युवाओं को आश्वस्त किया कि उनकी मांगों को सरकार के समक्ष गंभीरता से रखा जाएगा।
थार का निष्कर्ष:
हनुमान बेनीवाल की यह महारैली राज्य की राजनीति में एक अहम मोड़ साबित हो सकती है। बेरोजगारी, भर्ती घोटाले और आरपीएससी की पारदर्शिता जैसे मुद्दों पर युवाओं के बढ़ते आक्रोश को देखते हुए सरकार पर दबाव बढ़ता दिख रहा है। सोमवार को हाईकोर्ट में होने वाली सुनवाई पर अब सबकी निगाहें टिकी हैं।